व्यापारियों का प्रदर्शन पांचवे दिन भी जारी, मुह पर काली पट्टी बांधकर व मुह बंद कर किया प्रदर्शन
सांसद निहालचंद को सौपा प्रधानमंत्री के नाम ज्ञापन
हनुमानगढ़ 2 मार्च व्यापार संघ, व्यापार मंडल, फूडग्रेन व्यापार मंडल द्वारा संयुक्त रूप से अपनी मांगों को लेकर शनिवार को जंक्शन नई धान मण्डी में मुंह पर काली पट्टी बांधकर प्रदर्शन किया। प्रदर्शन उपरान्त व्यापारियों ने सासंद निहालचंद को पूर्व जलसंसाधन मंत्री डॉ. रामप्रताप के निवास पर प्रधानमंत्री के नाम विभिन्न मांगों के संबंध में ज्ञापन सौंपा। व्यापारियों ने कृषि जिन्सों की समर्थन मूल्य पर खरीद क वर्ग दलाल के माध्यम से करवाने व क वर्ग दलाल को कानूनन तय शुदा आढत 2.25 प्रतिशत का भुगतान सरकार द्वारा करवाने की मांग की। व्यापारियों ने बताया कि ऑनलाईन खरीद से व्यापारियों की आढ़त पर प्रभाव पड़ेगा। सरकार की नीति यह है कि सरकार सीधे काश्तकार से कृषि जिन्स की खरीद करती है व क वर्ग दलाल को कोई आढ़त का भुगतान नहीं किया जाता। किसान क वर्ग दलाल से जुड़ा हुआ है व हर माल की सार सम्भाल क वर्ग दलाल द्वारा की जाती है। व्यापारियों ने कहा कि सरकार को समर्थन मूल्य पर गेहूं की सरकारी खरीद पड़ौसी राज्य पंजाब व हरियाणा की तर्ज पर करवाते हुए किसान व व्यापारी हित में निर्णय करना चाहिए। पंजाब हरियाणा तर्ज पर खरीद से किसान को जे फार्म उपलब्ध होगा, कागजी कार्यवाही खत्म होगी, क वर्ग दलाल की सारी जिम्मेदारी होगी जिससे खरीद में सरकारी एजेन्सी को कोई असुविधा नहीं होगी और किसान को भी उसकी उपज का सही मूल्य मिल सकेगा। सरकार द्वारा इस वर्ष भी गेहूं की खरीद ऑनलाइन करने के आदेश दिए गए है तथा किसानों का रजिस्ट्रेशन करवाने के निर्देश भी किए जा चुके हैं। व्यापारियों ने मांग की है कि ऑनलाइन गेहूं की खरीद संभव नहीं है क्योंकि गेहूं की फसल पूरे ऐरिया में एक साथ पकती है व कम्पाईन द्वारा निकाल कर किसान सीधा गेहूं बाजार में लाता है, जो नियत तारीख पेशी काश्तकार को दी गई उस पर गेहूं किसी भी हालात में मंडी में लाकर तुलवाना संभव नहीं है। एक साथ गेहूं आने पर जगह की भारी किल्लत हो जाती है और खाली जगह पर गेहूं डालनी पड़ेगी, इस तरह 6 माह तक भी गेहूं की सरकारी खरीद पूरी नहीं होगी, किसान बर्बाद हो जाएगा, इसलिए गेहूं की सरकारी खरीद ऑफलाइन की जाए। व्यापारियों ने चेतावनी दी है कि उक्त मांगों को नहीं माना गया तो क वर्ग दलाल आन्दोलन और उग्र करेंगे, जिससे कानून व्यवस्था की जिम्मेदारी जिला प्रशासन की होगी। किसान का गेहूं ना तुलने पर किसान उग्र हो सकता है व आन्दोलन हिंसक रूप भी ले सकता है। प्रदर्शन करने वालों में व्यापार संघ अध्यक्ष मूलचंद, व्यापार मंडल अध्यक्ष प्यारेलाल बंसल, फूडग्रेन व्यापार मंडल अध्यक्ष अनिल बंसल, खाद्य व्यापार संघ सुरेंद्र बलाडिया, अशोक लखोटिया, कुलभुषण जिन्दल, कपिल बंसल, शंकरलाल जैन, धर्मपाल जिन्दल, पवन बंसल, सतपाल दामड़ी, प्रदीप गर्ग,राजकुमार, रघुवीर चंद, देवीलाल, जोतराम, साहिल बलाडिया, विजय धीगड़ा, मदन लाल, सुशील ढुढाणी, रमेश जिन्दल, ओमप्रकाश, सुभाष गोदारा, राष्ट्रदीपक बंसल आदि व्यापारी मौजूद थे।
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